सामान्यतः श्री सिद्धाचलजी, श्री गिरनारजी, श्री अाबूजी, श्री अष्टापदजी एवं श्री सम्मेतशिखरजी तीर्थों की गणना महातीर्थों के रुप में की…
विश्व के विभिन्न देशों में व स्थानों में राजा कहने योग्य यदि कोई स्थान है, तो वह है... राजस्थान... स्थान…
Chetna ke Param Shikhar tak pohochne ka alamban Shri Jirawala Parshwanath
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’जैनं जयति शासनं’ की, अलख जगानी जारी है हे जिन शासन! तूं है मैया, तेरी ही फुलवारी है, वंदे शासनम्…
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ॐ नमो भगवते... श्री पार्श्वनाथाय, पार्श्वनाथाय प्रभु पार्श्वनाथाय शंखेश्वर मंडण पार्श्व0 जीरावलामंडण पार्श्व0 नागेश्वर मंडण पार्श्व0 नाकोडा मंडण पार्श्व0 धरणेन्द्र…
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जय जय श्री पारसनाथ... प्रेम से बोलो पारसनाथ... धीरे से बोलो पारसनाथ... हैये हैये पारसनाथ... अणु-अणुमां पारसनाथ... परमाणुमां पारसनाथ... शंखेश्वरमां…
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हालो रे हालो ! अमे शंखेश्वर जवानां... शंखेश्वर जवाना, अमे नाथने मलवानां, नाथने मलवानां, अमे व्हालाने मलवानां, हैयानी वात एना…
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दरिशन देजो नाथ... दर्शन देजो नाथ, भक्तों तारा तने पोकारे-दर्शन देजो नाथ, अंतरनी तमे आशा पूरजो, दुःखडा सौना हरजो, दीनदयालु…
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तमे तो अमारा, अमे तो तमारा, संबंधो छे आपणा, पुराणा-पुराणा... एक युगमां आपणे साथे हता रे, दिवसो मिलनना, केवा रे…